नई दिल्ली: अश्विन माह में होने वाले पितृपक्ष में आने वाली अमावस्या 14 अक्टूबर को इस साल का आखिरी सूर्य ग्रहण लगने वाला है। इसके साथ ही इस दिन शनिवार भी पड़ रहा है जिसके चलते इसे शनि अमावस्या भी कहा जाएगा। अमावस्या के दूसरे दिन 15 अक्टूबर से मां दुर्गा का धरती में वास होना शुरू हो जाएगा।  इस दिन सूर्य और बुध दोनों ही कन्या राशि में विराजमान रहेंगे। जिसके कारण बुधादित्य योग का निर्माण हो रहा है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार 178 वर्षों के बाद ऐसा संयोग बन रहा है। कहा जा रहा है कि ऐसा संयोग वर्ष 1845 में बना था। इस बार का सूर्य ग्रह कई राशियों के जीवन पर अपना खास प्रभाव डालने वाला है। जिसके चलते उनकी जीवन खुशियों से चमक उठेगा। इसके साथ देवी लक्ष्मी के साथ-साथ माता रानी का भी आर्शीवाद इन राशियों पर बना रहेगा। आइए जानें ये राशियाँ कौन-कौन सी हैं।-

मकर राशि

मकर राशि के जातकों के लिए इस साल में पड़ने वाले परितृपक्ष का अंतिम सूर्य ग्रहण काफी फालदाई साबित होने वाला है। इन राशि वालो का मां देवी की कृपा भी बरसने वाली है। सफलता के नए अवसर प्राप्त होंगे। धन और समृद्धि में वृद्धि होगी। घर-परिवार में खुशहाली आएगी। लंबे समय से अटका काम पूरा होगा।

तुला राशि

तुला राशि के जातकों के लिए भी इस साल का सर्वपितृ अमावस्या भाग्य का ताला खोलने वाला साबित होगा । देवी लक्ष्मी की कृपा बरसेगी। कारोबार में लाभ होगा। आर्थिक समस्याओं से छुटकारा मिलेगा। आय में वृद्धि हो सकती है। होगी।

मिथुन राशि

मिथुन राशि के जातकों के लिए इस साल का अंतिम सूर्य ग्रहण लाभकारी साबित होगा। धन लाभ के और सफलता के योग बन रहे हैं। भौतिक सुख-सुविधाओं का लाभ मिलेगा परिवार में खुशहाली आएगा।