आपने ग्रामीण क्षेत्र में कई प्रकार की फसलों की खेती देखी ही होगी लेकिन क्या आपने कभी सरसों की इस प्रकार की खेती को देखा है। जिसमें पौधे की लंबाई 7 फिट की हो तथा एक ही पौधे से 10 किलो सरसों की पैदावार होती हो। यदि आपने सरसों की इस प्रकार की खेती नहीं देखी है तो आज हम आपको बता रहें हैं की इस प्रकार की खेती कहां होती है। आपको बता दें कि इस प्रकार की खेती से किसान लोग लगातार मालामाल बन रहें हैं। यदि आप भी खेती करते हैं तो आपको यह खबर जरूर पढ़नी चाहिए।
यहां होती है यह खेती
आपको बता दें की सरसों की यह विशेष खेती पश्चिम बंगाल में होती है। गंगनापुर जिले के देबग्राम के किसान विकास दास इस खेती के बारे में बताते हैं की सरसों की इस विशेष खेती के लिए उनके क्षेत्र का वातावरण काफी ज्यादा अनुकूल है। इसी कारण इनके क्षेत्र में इस खेती को करने के लिए अधिक बीज की आवश्यकता नहीं होती है। आप मात्र 100 ग्राम बीज से एक बीघे में आराम से खेती कर सकते हैं। अन्य फसलों में जहां 2-3 से क्विंटल प्रति हेक्टेयर की पैदावार होती है वहीं सरसों की इस खेती में 7-8 क्विंटल प्रति हेक्टेयर की पैदावार आसानी से हो जाती है।
अच्छा मुनाफ़ा कमा रहें हैं किसान
आज के समय में बड़ी संख्या में किसान लोग खेती के कार्य को छोड़कर अन्य कार्यों की और रुख कर रहें हैं। वहीं जो किसान लोग सरसों की इस खेती को कर रहें हैं। वे इससे अच्छा मुनाफ़ा कमा रहें हैं। आज खाद से लेकर अन्य सभी चीजें महंगी हो रहीं हैं। अतः बढ़ते दामों के इस दौर में यह खेती काफी ज्यादा लाभकारी साबित हो रही है। विकास दास बताते हैं की इस खेती को करने से किसान को काफी ज्यादा लाभ प्राप्त होता है। वे आगे बताते हैं की बंगाल में खेती काफी हद तक मौसम पर निर्भर करती है।