The Historical Facts of Mughal emperor: हमारे भारत में कई सारे लोगों ने राज किया है. इसलिए बात जब भी इतिहास की होती है तो हमेशा ही ऐसे लोगों का नाम लिया जाता है. मान लीजिए अगर आज महाभारत के युद्ध में दुर्योधन जीत गए होते तो लोग उन्हें ही महान मानते. उसके बाद इतिहास में उनका ही नाम दर्ज़ होता.

ठीक ऐसा ही कुछ मुग़लों के साथ भी होता है. उनकी चीज़ो को हमेशा बढ़ा चढ़ा कर पेश किया जाता है. हमारे समाज में ऐस कई साड़ी भ्रांतिया फैली है जो लोग सच मानते है. कई लोग सोचते है की मुग़लों ने भारत को बहुत कुछ दिया है पर सच इससे बिलकुल पड़े है क्योंकि भारत को उनहोने जितना दिया है उससे ज्यादा ले लिया है. चलिए आपके इन्ही कुछ भ्रांतियों को आज तोड़ते है.

बाबर को था हिंदुस्तान से प्रेम

आपकी जानकारी के लिए बता दे मुगल वंश के संस्थापक बाबर के बारे में ज्यादातर इतिहासकार मानते है कि उसे भारत से बहुत लगाव था पर ये बात बिलकुल गलत और झूठी है. क्योंकि इतिहास में ऐसे कई सबूत है जो इस बात को दर्शाते है कि बाबर को भारत बिलकुल पसंद नहीं था. बता दे बाबर के पास खुद की एक अपनी डायरी थी जिसका नाम तुजुके बाबरी था. उसमें बाबर ने भारत के बारे में कई चीज़े अच्छी तो बहुत सारी चीज़े बुरी भी लिखी है. चलिए आपको बताते है.

बाबर ने अपनी डायरी में लिखा है कि हिंदुस्तान एक बहुत ही दिलचस्प मुल्क है. भारत के लोग खूबसूरत नहीं हैं सतह ही यहाँ का सामाजिक ताना-बाना भी अच्छा नहीं है. यहाँ के लोगों में शायरी का हुनर नहीं है. यहाँ के लोगों को तमीज़, तहज़ीब और बड़ा दिल नहीं है. यहाँ के लोग कला और शिल्प में अच्छे नहीं है. बाबर ने अपनी डायरी में ये तक लिखा था कि भारत में अच्छे घोड़े, मीट, अंगूर, तरबूज़ नहीं होते.

अच्छी इमारतें मुग़लों ने बनवाई

बता दे कि ये बात बिलकुल सच है कि भारतीय वास्तुकला में मुगल सम्राज्य का प्रभाव है लेकीन ये बिल्कुल गलत है कि भारत में जितनी भी वास्तुकला है वो सिर्फ मुगलों द्वारा लाया गया. क्योंकि ऐसा बिल्कुल नहीं है. दरअसल हमारे भारत में मुगलों के आने से पहले भी बहुत इमारतें थी जिन्हें नायाब नमूना कहा गया है. क्योंकि अगर आज भारत में ताजमहल नहीं भी होता तो भारत के पास अजंता, ऐलोरा की गुफाएं, सांची का स्तूप, खजुराहो के मंदिर, दक्षिण के भव्य मंदिर, तंजौर की मूर्ति कला जैसे कलाकृति मौजूद है.